भारत में कोरोना की तीसरी लहर की संभावना होते हुए भी उत्तर प्रदेश की सभी पार्टिंयों ने विधानसभा इलेक्सन के लिए हामी भर दी है। सभी पार्टियों के लिए जनता से अधिक चुनाव और राज्य की गद्दी जरुरी है। तभी तो सभी पार्टियों ने निर्धारित समय में हो रहे इलेक्सन के लिए हामी भरी है। गुरुवार को लखनऊ में भारत के मुख्य निर्वाचन आयुक्त सुशील चंद्रा ने प्रेस कांफ्रेंस करते हुए यह चिंता जताई की “देश के सबसे बड़े प्रदेश में 2017 के विधानसभा चुनाव में 59 फीसदी लोगों ने वोट किया था। जो काफी चिंताजनक है। इस बार अगर मतदाता मतदान करना चाहता है और उसका नाम वोटर लिस्ट में नहीं है तो वो आपना नाम जुड़वा सकता है। मतदाता को अपने निकटतम बीएलओ से संपर्क करके अपना नाम वोटर लिस्ट में जुड़वाना होगा। या फिर वो ऑनलाइन भी इसके लिए आवेदन कर सकता हैं। इसके लिए आखिरी तारीख 5 जनवरी तय करी गई है”।
इसके साथ ही उन लोगों के लिए खुशखबरी है कि जिनका नाम मतदाता लिस्ट में है लेकिन अगर आपके पास वोटर आईडी कार्ड नहीं है तो भी आप वोट डाल सकते हैं। जिसके लिए आप अपने आधार कार्ड, पैन या फिर ऑफिसियल आईडी कार्ड का भी उपयोग कर सकते हैं। मुख्य निर्वाचन आयुक्त के मुताबिक भारत के सबसे बड़े राज्य में वोट को लेकर अनुत्सुकता परेशान करने वाला है। जिस राज्य में राजनीति को लेकर लोग इतने जागरूक हैं, अगर वह सुस्त हैं तो वसीहया चिंताजनक हैं।
चुनाव आयोग के मुताबिक 5 जनवरी तक यूपी में मतदाता पंजीकरण का काम चलेगा। इसके साथ ही फाइनल निर्वाचक नामावली 5 जनवरी को प्रकाशित होगी। अभी तक 15 करोड़ से ज्यादा उत्तर प्रदेश में मतदाताओं की संख्या है। आयोग के अनुसार लोग अपना नाम निर्वाचक नामावली प्रकाशित होने के बाद भी जुड़वा सकते हैं। इस बार 52.8 लाख नए मतदाता जुड़े हैं। इसके आगे वह कहते है कि जनवरी 2022 को 18 साल के हो रहे मतदाता अपना पंजीकरण जरूर करवाएं।
प्रेस कॉन्फ्रेंस में चुनाव आयोग ने कही जरूरी बातें-
- चुनाव को लेकर राजनीतिक पार्टियों से बात हुई। सभी राजनीतिक पार्टियां समय पर विधानसभा चुनाव चाहती हैं।
- सभी राजनीतिक पार्टियों ने की चुनाव आयोग से मांग की है कि विधानसभा चुनाव कोविड प्रोटोकॉल के साथ तय समय पर हों।
- ज्यादा से ज्यादा लोग चुनावी प्रक्रिया का हिस्सा बनें।
- यूपी में करीब 15 करोड़ वोटर की संख्या। 52 लाख से ज्यादा नए वोटर्स जुड़े हैं।
- 800 पोलिंग स्टेशन पर होगीं महिला पोलिंग अधिकारी की तैनाती।
- 5 जनवरी तक जारी होगी फाइनल मतदाता सूची।
- बुजुर्गों-दिव्यांगों को घर पर वोटिंग की सुविधा।
- रैलियों की संख्या और रैलियों में संख्या सीमित करने का सुझाव।
- यूपी में पोलिंग बूथ की संख्या को 11 हजार तक बढ़ाया जाएगा।
- वोटिंग के लिए 11 दस्तावेज मान्य होंगे।
इसके अतिरिक्त आयोग ने क्या-क्या कहा-
- 80 वर्ष से अधिक और दिव्यांग मतदाताओं को घर बैठे बैलेट पेपर से वोट देने की अनुमति मिलेगी।
- यूपी के 800 पोलिंग बूथ ऐसे होंगे जहां पर सभी कर्मचारी महिला ही होंगी।
- 11 तरह के पहचान पत्रों के जरिए मतदाता मतदान कर सकेंगे।
- उत्तर प्रदेश का पूरा चुनाव ईवीएम वीवीपट के थ्रू ही होगा।
- यूपी में 1 लाख पोलिंग बूथों पर वेबकास्टिंग कराई जाएगी।
- पोलिंग बूथ पर ड्यूटी पर लगाए गए सभी अफसर 100% वैक्सीनेटेड होंगे।
- सुबह 8:00 बजे से शाम 6:00 बजे तक मतदान कर सकेंगे लोग।
- सी विजिल ऐप के जरिए चुनाव में गड़बड़ियों पर नजर रखी जाएगी।
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